काठमांडू: नेपाल में आपदा के बाद कनेक्टिविटी मजबूत करने के उद्देश्य से भारत ने हेतौंडा में ७०-मीटर लंबे मॉड्यूलर पुल और पुल स्थापित करने के लिए विशेष उपकरणों का हस्तांतरण किया है।
भारत के राजदूत श्री नवीन श्रीवास्तव ने आज यहां एक समारोह में नेपाल सरकार के माननीय भौतिक पूर्वाधार एवं परिवहन मंत्री कुलमान घीसिंग को ७०-मीटर लंबे मॉड्यूलर पुल का पूरा सेट और पुल स्थापित करने के लिए प्रयुक्त होने वाले विशेष उपकरण सौंपे।
अक्टूबर २०२५ में पूर्वी नेपाल को प्रभावित करने वाली विनाशकारी बारिश के बाद, नेपाल सरकार के अनुरोध पर भारत सरकार कुल दस ऐसे ७०-मीटर लंबे उच्च स्पैन वाले पुल प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है। ७३ करोड़ नेपाली रुपये से अधिक मूल्य के ये दस बेली ब्रिज भारत द्वारा अनुदान के आधार पर दिए जा रहे हैं।
आज हस्तांतरित किया गया मॉड्यूलर पुल शीघ्र ही रामेछाप में स्थापित किया जाएगा, जहां अक्टूबर २०२५ में भारी बारिश के बाद सड़क कनेक्टिविटी प्रभावित हुई थी।
पिछले वर्ष सितंबर २०२४ में आई बाढ़ और भूस्खलन के बाद, भारत सरकार ने ४१ करोड़ नेपाली रुपये मूल्य के १० प्री-फैब्रिकेटेड स्टील ब्रिज उपलब्ध कराए थे, जिनमें से चार की स्थापना पहले ही हो चुकी है।
इस अवसर पर राजदूत श्रीवास्तव ने कहा कि मॉड्यूलर पुल और विशेष उपकरणों की आपूर्ति भारत-नेपाल संबंधों को परिभाषित करने वाली मित्रता के स्थायी बंधन का एक शक्तिशाली प्रमाण है और नेपाल के पूर्वाधार विकास एवं आपदा पश्चात पुनर्निर्माण के प्रयासों के लिए हर संभव सहयोग उपलब्ध कराने की भारत सरकार की नीति की पुष्टि करती है।
नेपाल सरकार के भौतिक पूर्वाधार एवं परिवहन मंत्री कुलमान घीसिंग ने भारत के निरंतर और महत्वपूर्ण सहयोग के लिए आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि शीघ्र स्थापित किए जा सकने वाले ऐसे पुलों और उपकरणों की उपलब्धता आपातकालीन पुनर्निर्माण को गति प्रदान करने में अत्यंत महत्वपूर्ण है। उन्होंने यह आश्वासन भी दिया कि पुल को शीघ्र ही चालू कर दिया जाएगा।
भारत सरकार पुनर्निर्माण और आपदा जोखिम न्यूनीकरण के प्रयासों में नेपाल सरकार और नेपाली जनता के साथ निरंतर सहयोग के प्रति प्रतिबद्ध है।









