नई दिल्ली: पुलिस ने सोमवार को कहा कि बंदूकधारियों ने पाकिस्तान के दक्षिण-पश्चिमी प्रांत में तीन “आप्रवासी” नाइयों की गोली मारकर हत्या कर दी।
बलूचिस्तान में देश के अन्य हिस्सों के मजदूरों पर हमले बढ़ गए हैं और उग्रवादियों ने उन पर क्षेत्र से लाभ उठाने का आरोप लगाया है।
अफगानिस्तान और ईरान की सीमा से लगे प्रांत में आतंकवादियों ने सेना को मुखबिरी करने के आरोपी प्रवासी हेयरड्रेसरों को बार-बार निशाना बनाया है।
पंजगुर जिले के एक पुलिस अधिकारी मोहम्मद ज़ैद ने एएफपी को बताया, “सिंध के तीन नाईयों की जान चली गई है।”
पुलिस के मुताबिक, रविवार शाम मोटरसाइकिल पर आए बंदूकधारियों ने सैलून में घुसकर गोलीबारी की। इस हमले की जिम्मेदारी किसी समूह ने नहीं ली है।
अलगाववादी बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी (बीएलए) इस क्षेत्र का सबसे सक्रिय समूह है, जिसने बाहरी लोगों पर अपने समृद्ध संसाधनों के शोषण का आरोप लगाते हुए हमले किए हैं।
पिछले फरवरी में उग्रवादियों ने एक बस को रोका और सात पंजाबी श्रमिकों को मार डाला।
पिछले साल अप्रैल में, नौशकी शहर में एक बस से अगवा किए गए ११ पंजाबी मजदूरों की भी हत्या कर दी गई थी, जबकि उसी साल मई में छह पंजाबी नाइयों की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी।
बलूचिस्तान के बोलान जिले के पुलिस अधिकारी सैयद दिलावर के मुताबिक, रविवार को एक अन्य घटना में पाकिस्तानी सेना के दो जवान मारे गए और एक घायल हो गया।
आतंकियों के पहाड़ों में छिपे होने की सूचना मिलने के बाद जवानों ने सुरक्षा अभियान चलाया और घंटों चली मुठभेड़ में दो जवान शहीद हो गये।
स्थानीय पुलिस अधिकारी फजल वकार के मुताबिक, आतंकवादियों ने सोमवार सुबह उत्तर-पश्चिमी खैबर पख्तूनख्वा के कोहाट जिले में दो पुलिस अधिकारियों की भी गोली मारकर हत्या कर दी।
पिछले कुछ वर्षों से पाकिस्तानी शहरों में हमले दुर्लभ हैं, लेकिन अफगानिस्तान के साथ सीमा क्षेत्र में हिंसक घटनाएं बढ़ गई हैं।